भोले शंकर दानी तू जग का विधाता है लिरिक्स - Bhole Shankar Dani Tu Jag Ka Vidhata Hai Lyrics
भोले शंकर दानी तू जग का विधाता है लिरिक्स
भोले शंकर दानी,तू जग का विधाता है,अपने भक्तो का तू,अपने भक्तो का तू,
बस दीन दाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
जब दुनिया सोती है, तब तू ही जगता है,
जग का पालन पोषण, बस भोला करता है,
भक्तों के कष्टों को,भक्तों के कष्टों को,
तू दूर भगाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
कोई दूध से नहलाए,जल कोई चढ़ा जाए,
कोई उख का जल सींचे,कोई भंग पीला जाए,
कोई आक धतूरे का, कोई आक धतूरे का,
तुझे भोग लगाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
किस्मत ही बदल डाले,जो नाम जपे तेरा,
आफत से तू टाले,जो ध्यान धरे तेरा,
चरणों में ‘हर्ष’ तेरे,चरणों में ‘हर्ष’ तेरे,
ये शीश झुकाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
भोले शंकर दानी,तू जग का विधाता है,
अपने भक्तो का तू,अपने भक्तो का तू,
बस दीन दाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
जब दुनिया सोती है, तब तू ही जगता है,
जग का पालन पोषण, बस भोला करता है,
भक्तों के कष्टों को,भक्तों के कष्टों को,
तू दूर भगाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
कोई दूध से नहलाए,जल कोई चढ़ा जाए,
कोई उख का जल सींचे,कोई भंग पीला जाए,
कोई आक धतूरे का, कोई आक धतूरे का,
तुझे भोग लगाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
किस्मत ही बदल डाले,जो नाम जपे तेरा,
आफत से तू टाले,जो ध्यान धरे तेरा,
चरणों में ‘हर्ष’ तेरे,चरणों में ‘हर्ष’ तेरे,
ये शीश झुकाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।
भोले शंकर दानी,तू जग का विधाता है,
अपने भक्तो का तू,अपने भक्तो का तू,
बस दीन दाता है,
भोलें शंकर दानी,तू जग का विधाता है।।,
भोले शंकर दानी तू जग का विधाता है लिरिक्स
Bhole Shankar Dani Tu Jag Ka Vidhata Hai Lyrics
ऐसे ही सुन्दर नये भक्ति भजन के लिरिक्स आप यहां पर देख सखते है
Ankit Mali
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